आदेश आदेश जय गुरु गोरखनाथ में सनी शर्मा एक बार फिर से आप सभी के लिए गोरक्ष फटकार का प्रयोग लेकर आया हूं नाथ संप्रदाय में सबसे प्रचलित एवं सबसे ज्यादा प्रयोग में ली जाने वाली साधना है जब कोई तांत्रिक कोई व्यक्ति जानबूझकर किसी के हित में चीज का प्रयोग करता है
जिसमें मारण मोहन स्तंभन विद्वेषण उच्चाटन जैसी क्रिया का प्रयोग अपने फायदे के लिए के लिए करता है तब इस फटकार का प्रयोग उस तांत्रिक के ऊपर किया जाता है यह फटकार की कोई काट नहीं है गुरु गोरक्षनाथ महाराज की फटकार का प्रयोग जिस व्यक्ति के ऊपर किया जाता है वह व्यक्ति विहाल हो जाता है सद्बुद्धि को देता है ज्यादा जानकारी के लिए मेरे यूट्यूब चैनल सनी नाथ पर विजिट करें चैनल को सब्सक्राइब और बैल आइकन पर क्लिक करें लाइव चैट में मेरे साथ फ्री में बातचीत कर सकते हो बाकी की सारी सर्विस पर है साधना के अनुसार ही मेरा भोग प्रसाद है जिसकी जानकारी मेरी वेबसाइट अथवा मेरी यूट्यूब चैनल के डिस्क्रिप्शन बॉक्स में मिल जाएगी कोई भी साधना
गोरक्ष डिब्बी जहां खाई वही दब्बी गोरक्ष डिब्बी गोरक्ष फटकार, पढ़कर मारू मंगलवार, काले तिल गोरी राई चौराहे की मिट्टी मसान की छाई जो न लगे तो गुरु गोरक्षनाथजी की दुहाई गोबर खाय विष्टा खाय कपड़े फाड जंगल भाग जाय फिर न देखे घरबार भर मता फिरे दशवा द्वारा फुर मंत्र ईश्वर महादेव तेरी वाचा फुरेघट पिंड की रक्षा श्री गुरु गोरक्षनाथजी करे।
का अनुष्ठान बिना सोचे समझे कदापि ना करें गुरु सानिध्य में ही इन मंत्रों का प्रयोग किया जाता है जो लोग गुरु दीक्षित है और तंत्र मंत्र की क्रिया के जानकार है वहीं इन मंत्रों का प्रयोग कर सकते हैं वह भी किसी व्यक्ति के सानिध्य में चलते हुए इस फटकार का प्रयोग सवा महीने का है पहले आपको इसको सिद्ध करना है नित्य पांच माला रात्रि में जब करना है धुना चिमटा लगा कर इस मंत्र का प्रयोग करना है रुद्राक्ष की माला के ऊपर अथवा स्वयं के आसन के ऊपर बैठकर आसन बंधन गुरु मंत्र गणेश पूजन फिर आपने इस मंत्र का प्रयोग करना रात्रि 10:00 से लेकर 12:00 के बीच में संकल्पित साधना करनी है संकल्प टूटे आनी चाहिए साधना का हर एक नियम लागू होता है लहसुन प्याज बिल्कुल
बजे रीत है वह आप नहीं खा सकते हो और आपने साधना के दौरान भूमि चयन करना है नंगे पांव रहना है चप्पल नहीं पहनी है और अनस्टिच्ड कपड़े पहनने है साधना के दौरान और नित्य रात्रि को रूट लगाना है बाबा गोरखनाथ जी के नाम का स्वामी ने के जप के बाद वह सारी भस्म इकटथी कर लेनी है जिस व्यक्ति के ऊपर प्रयोग करना है तब आपने यह बसम के ऊपर 21 बार मंत्र पढ़कर उसकी और मारनी है यह मंत्र आपका कार्य करने लग जाएगा ज्यादा जानकारी के लिए साधना आप मेरे सानिध्य में कर सकते हो साधना का भोग प्रसाद खर्चा आने के बाद आदेश आदेश जय गुरु गोरखनाथ सनी नाथ शर्मा ।
No comments:
Post a Comment