पहाड़िया मामा की साधना हिमाचल प्रदेश के प्रसिद्ध लोकप्रिय साधना सिद्धि PAHADIYA MAMA JI KISDDHI KAISE LETE HAI SAWARI AUR PUCCHA KAAM

आदेश आदेश जय गुरु गोरखनाथ में सनी शर्मा एक बार फिर से  आप सभी के लिए पहाड़िया मामा की साधना लेकर यह साधना गुप्त साधना है गुरु ज्ञान है इस साधना को करने से आपके ऊपर पहाड़िया मामा का पहरा एवं उनकी कृपा होती है यह एक ऐसी शक्ति है जो कोई भी कार्य करने की क्षमता रखती है अच्छे और बुरे दोनों कर्मों में लोग इनका प्रयोग करते हैं इनकी साधना गुरु सानिध्य गुरु कृपा से ही कि जिन लोगों ने गुरु धारण कर रखे हैं वह इनके मंत्र का उच्चारण कर सकते हैं अगर आप बिना गुरु के इनकी साधना सिद्धि करते हो तो लेखा-जोखा रेस का आपका रहता है क्योंकि कुछ मंत्र कुछ किराए ऐसी होती हैं जो बिना गुरु के आप नहीं कर सकते हो ज्यादा जानकारी के लिए मेरे यूट्यूब चैनल सनी नाथ पर विजिट जरूर करें चैनल को सब्सक्राइब लाइक और  क्लिक करें ताकि लाइव चैट पर मैं जब भी आओ तो आप मेरे साथ फ्री में बात कर सको वहां पर आपको यह साधना मिल जाएंगे वहां पर भी आप अच्छे से सुनकर समझ कर ही साधना का प्रयोग कर सकते हो बाकी की जानकारी मेरी वेबसाइट और मेरे युटुब चैनल के डिस्क्रिप्शन बॉक्स में आपको मिल जाएगी । यह एक तांत्रिक साधना है इसलिए इसका अनुष्ठान घर में नहीं बिठाना है एकांत कक्ष में एकांत कमरे में अथवा एकांत ही जगह के ऊपर आपने इन का अनुष्ठान बिठाना है रुद्राक्ष की माला एवं दारु और मीट के भोग से सारा सिस्टम चलना है याद रखना बिना गुरु के ऐसे मंत्रों का जाप नहीं किया जाता है जन कल्याण हेतु मैं यह मंत्र यहां पर प्रकाशित कर रहा हूं मंत्र नीचे है

पहाड़िया आवे आवे तुझे मनाऊं तुझे भोग में दारु मीट खिलाओ मेरा काम कर नहीं आवे तुझे गोरा माता की दुहाई जय पहाड़िया मामा तेरी सेवा करूं दिन रात चले मंत्र पूरे बच्चा दिखा बाबा पहाड़िया मामा तेरे इलम का तमाशा ।

साधना करने से पहले आप मेरे साथ बातचीत भी कर सकती हो बिना गुरु के मंत्र का अनुष्ठान ऐसे नहीं करना है अगर आप ऐसे इस मंत्र का अनुष्ठान करते हो लेखा-जोखा जिसका आपका रहता है कि जन कल्याण हेतु ही मैंने यहां पर यह साधना प्रकाशित कर दिया है रुद्राक्ष की माला के ऊपर जब करना है बाकी का विधान आप मेरे साथ कंसल्ट करके समझ सकते हो या मेरी यूट्यूब चैनल पर एक बार विजिट करके वीडियो देख लेना सब कुछ सोच समझकर ही करना आदेश आदेश जय गुरु गोरखनाथ अलख निरंजन सनी नाथ शर्मा ।

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